मशरूम की खेती कब और कैसे करें जाने पूरी विधि | Mushroom Farming Business in Hindi

Mushroom Farming Business Plan in Hindi – मशरूम की खेती लाभदायक व्यवसाय में से एक माना जाता हैं अगर आप खेती बाड़ी के जरिये से एक अच्छा व्यवसाय करने की सोच रहे हैं तो मशरूम की खेती करना आपके लिए बहुत ही लाभदायक हो सकता हैं अगर आप (mushroom ki kheti kaise kare) मशरूम की खेती करके अच्छी कमाई करने की सोच रहे हैं

तो बटन मशरूम की खेती से आप अच्छी खासी कमाई कर सकते हैं क्योंकि भारत में इसकी मांग काफी ज्यादा हैं इसकी खेती करना कोई मुश्किल काम नहीं हैं इसमें कोई साइंस नहीं लगती इसकी खेती आप किसी भी छोटी जगह यह अपने घर की कोई खली जगह में आराम से कर सकते हैं मशरूम अपनी गुंडों और खासियत की वजह से बहुत ही ज्यादा लोकप्रिय होती जा रही हैं बाजार में मशरूम की मांग अच्छी है क्योंकि इसमें प्रोटीन, फ़ाइबर, और एमिनो एसिड होता हैं जो हमारे सेहत के लिए बहुत ही ज्यादा लाभदायक होता हैं

मशरूम की खेती का व्यापार आज के समय में भारत और भारत के बहार भी शानदार चल रही है, अगर आप एक किसान हो और आप चाहते हो कि कुछ व्यापार शुरू करें तो आपके लिए mushroom farming Business शुरू करना सबसे अच्छा होगा आज हम जानेंगे कि आखिर कैसे मशरूम की खेती किया जाता है, मशरूम की खेती की शुरुआत से लेकर बाजार तक पहुंचाने की पूरी जानकारी में आपको आज दूंगा हमारे आर्टिकल में अंत तक बने रहे

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मशरूम की खेती का व्यापार क्या है? (What is Mushroom Farming Business)

मशरूम को इंग्लिश में Oyster कहा जाता है तथा इसमें प्रोटीन और विटामिन डी भी पाया जाता है मशरूम को शाकाहारी पौधा नहीं माना जाता है क्यों की यह फफूंद से बना होता है इसलिए यह मांसाहारी की श्रेणी में आता है

बहुत से लोगो को यह भ्रम होता है कि मशरूम पौधा है, क्योंकि इसके उत्पादन के लिए भी वही प्रक्रियाएं अपनाई जाती है, जो बाकी सभी फसलों के साथ अपनाते हैं लेकिन मशरूम कोई पौधा नही है, लेकिन यह पौधे का काफी करीबी होता है मशरूम एक कवक है, जिसका उपयोग आज हर जगह भोजन में किया जाने लगा है जब कोई भी व्यक्ति मशरूम की खेती इस वजह से करता है की वह इसके द्वारा खाने योग्य मशरूम का उत्पादन कर सके और इसे बेच कर मुनाफा कमा सके यही मशरूम फार्मिंग कहलाता है

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भारत में मशरूम की खेती का दायरा क्या है (Scope in india)

भारत में मशरूम की कई किस्में पाई जाती हैं भारत में ज्यादा तर बटन मशरूम की अच्छी खासी मांग हैं जबकि अन्य मशरूम (ऑयस्टर, दूधिया आदि) की मांग लोगो में ज्यादा नहीं हैं लेकिन आजकल इसकी लोकप्रियता भी बढ़ती जा रही हैं मशरूम की खेती का व्यापार आप बहुत आसानी से कर सकते हैं मशरूम की मांग प्रति दिन बढ़ती जा रही हैं क्योंकि मशरूम में कई प्रकार के पोषक तत्वों पाए जाने के करण भारत में अधिक से अधिक लोग स्वास्थ्य जागरूक हो रहे हैं और मशरूम उनके लिए एक अच्छा विकल्प हैं

अगर आप Mushroom ki kheti एक छोटे से व्यवसाय के रूप में शुरू करना चाहते हैं तो यह खेती मुश्किल नहीं हैं इसे आप कम पूंजी कम जगह में अपने घर में रह कर भी आसानी से शुरू किया जा सकता हैं अभी हाल में हमारे भारत के कुछ राज्य में जैसे उत्तर प्रदेश, राजस्थान में मशरुम की खेती होने लगी है इतना ही नहीं कुछ ठंडे राज्य में भी इनकी खेती हो रही है

मशरूम की खेती के लिए जगह का चुनाव करें (space requirement)

मशरूम की खेती करने के लिए सबसे पहले आपको सही जगह का चुनाव करना होगा जहा आप मशरुम ऊगा सके इसके लिए आपको पहले यह तय करना होगा की आप मशरुम की खेती छोटे यह बड़े पैमाने में करना चाहते है अगर आप छोटे पैमाने में करना के सोच रहे तो इसे आप अपने घर से भी शुरू कर सकते है जो अच्छी तरह से हवादार होना चाहिए 

इसके लिए आपको सिर्फ 250 से 300 squ feet जगह का इंतज़ाम करना होगा मशरुम की खेती आप अपने घर के बहार भी कर सकते है मगर ऐसा जगह चुने जहा धुप नहीं आती हो जगह पूरा बंद हो क्योंकि अगर सूरज की किरण सीधे आकर मशरूम के ऊपर पढ़ेंगे तो मशरूम खराब हो सकता है

मशरूम को 3 तरह से उगाया जा सकता है

1. मशरूम उगाने के लिए बांस का bed बना कर इसके उप्पेर मशरुम रखा जाता है अगर आप सुरुवात कर रहे है तो आप bed बनाकर काम खर्चे में सुरुवात कर सकते है

2. मशरूम को हवा में लटका कर इस विधि में आपको मशरुम के बीज को प्लास्टिक में डाल कर लटका दिया जाता है इसे यह होता है की जगह भी कम लगता है और कम जगह में ज्यादा मशरुम ऊगा सकते है

3. मशरूम यह उसके बीज को जमीन से थोड़ी उप्पर रख कर भी आसानी से उगाया जा सकता है और बड़ी प्लास्टिक से ढक दिया जाता है ताकि धूप नहीं पड़ सके

मशरूम के प्रकार (Types of Mushroom for Farming)

मशरूम की खेती के लिए भारत में सिर्फ 3 types के मशरुम उगाये जाते हैं

  • Button Mushroom 
  • Paddy straw Mushroom 
  • Oyster Mushroom  

वैज्ञानिकों के अनुसार पूरी दुनिया में मशरूम के 10000 से भी ज्यादा प्रजाति पाई जाती है परन्तु मशरूम की पांच ऐसी किस्मे है जिनका उपयोग हम अपने भोजन में करते हैं मशरूम के पांच किस्मो के नाम – बटन मशरूम ,पेड्री स्ट्रॉ मशरूम, स्पेशली मशरूम ,धिंगरी या ऑयस्टर मशरूम, दवाओं वाली मशरूम इसमें बटन मशरूम को काफी पसंद किया जाता है जिनका उत्पादन करके आप बहुत अच्छी कमाई कर सकते है

पर जब व्यक्ति व्यापारिक दृष्टिकोण से इसका उत्पादन करता है, तो वह ध्यान रखता है की किस किस्म के मशरूम की अधिक मांग है, साथ ही कौन सी मशरूम अधिक पैदा वार देती है इस हिसाब से मशरूम की सिर्फ तीन प्रजाति है, जो अच्छी पैदावार देती है बटन मशरूम, पैडी स्ट्रॉ, धिंगरी या ऑयस्टर मशरूम इस तीन तरह के मशरूम से अच्छा उत्पादन पाया जा सकता है

मशरूम की खेती इनके मात्रा और मौसम के ऊपर निर्भर रहती है, अगर आप 12 महीना यानि की साल भर मशरूम का खेती करना चाहते हो तो आपके लिए मिल्की यानि की दुधिया मशरूम सही होगा लेकिन अगर आप सर्दी के मौसम में मशरूम का खेती करना चाहते हो तो आपको बटन मशरूम का खेती करना चाहिए, ऑयस्टर मशरूम का खेती धूप की मौसम में यानी कि जनवरी से लेकर जुलाई तक किया जाता है, मशरूम की खेती आप साल भर कर सकते हो और इसमें आपको बहुत ही मुनाफा भी मिलेगा 

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भारत में उगाए जाने वाले मशरूम एवं उनकी विशेषता

1. सफेद बटन मशरूम :- इसकी खेती मुख्यतः निम्न तापमान वाले क्षेत्रों में कई जाती है। तकनीकों की सहायता से आज कल यह अन्य स्थानों पर भी उगाई जाने लगी है।

2. ढींगरी मशरूम :- इस प्रजाति के मशरूम को वर्ष भर उगाया जा सकता है। इसकी खेती के लिए 30 डिग्री सेंटीग्रेड तापमान सबसे उपयुक्त होता है। पूरे देश मे इसका उत्पादन होता है।10 कुंटल ढ़ीगरी मशरूम को उवने में 50000 हजार रुपए की लागत लगती है।

3. दूधिया मशरूम :- मशरूम की यह प्रजाति भारत में गर्मियों के समय उगती है यह मशरूम ट्रॉपिकल टाइप है इसलिए यह दक्षिण भारत मे अधिक पसंद किया जाता है।

4. पैड़ी स्ट्रॉ मशरूम :- इसे गर्ग मशरूम के नाम से भी जाना जाता है। यह उच्च तापमान पर काफी तेजी से बढ़ता है। यदि इस मशरूम की फसल को अनुकूल दशा प्राप्त हो तो इसका फसल चक्र 4 सप्ताह में ही पूरा हो जाता है। यह विटामिन,खनिजों एवं पोषक तत्वों से भरपूर होता है।

5. शिटाके मशरूम :- यह औषधि मशरूम के तौर पर जाना जाता है। इसे बिजनेस के साथ ही साथ घरेलू तौर पर भी आसानी से उगाया जा सकता है। दुनिया भर में कुल मशरूम उत्पादन के सूची में यह दूसरे स्थान पर है।इसमें फैट और सुगर नही होता है इसलिए इसे डाइबटीज एवं हार्ट पेशेंट्स के लिए अच्छा माना जाता है।

मशरूम की खेती के लिए बीज कहाँ से खरीदेंगे?

वैसे तो मशरूम बीज की कीमत 75 से 80 रूपए किलो है परन्तु बीज की कीमत उसके किस्म पर भी निर्भर करती है और बीज आप कृषि विज्ञानं केंद्र से या अपने किसी भरोसे मंद दूकान से भी खरीद सकते है

अगर आपके आसपास कोई ऐसी सुविधा उपलब्ध नहीं है तो फिर आप इंडिया मार्ट से भी ऑनलाइन इसकी खरीदारी कर सकते हो वहां पर आपको बहुत सारे मशरूम के बीज बेचने वाले मिल जाएंगे यह आपके ऊपर निर्भर करता है की आप बीज कहाँ से खरीदना चाहते है

मशरूम की खेती का व्यापार कैसे शुरू करें? How to Start Mushroom Farming Business in Hindi

How to Start Mushroom Farming Business in Hindi
Mushroom ki Kheti kaise kare

मशरूम की खेती सर्दियों में की जाती है क्यों की इसे कम तापमान में ही उगाया जा सकता है मशरूम की खेती के लिए आप 250 square से 1000 स्क्वायर तक जगह का इस्तेमाल कर सकते है यदि आपका बजट अच्छा है तो आप इससे अधिक जगह का इस्तेमाल भी कर सकते है यह आप के ऊपर निर्भर करता है की आप कितने स्क्वायर जगह का इस्तेमाल करना चाहते है

मशरूम की खेती एक कमरे में भी की जा सकती यह आप पर निर्भर है की आप उसके अलग जगह बनाकर खेती करना चाहते है या एक कमरे में मशरूम की खेती करना चाहते है कमरे का इस्तेमाल इसलिए भी किया जाता है क्यों की सर्दियों के मौसम में कमरे का तापमान मशरूम की खेती के लिए उचित होता है

1. कॉम्पोस्ट खाद बनाना

मशरूम की खेती के लिए जगह निर्धारण के पश्चात् आपको खाद की जरूरत होती है मशरूम की खेती में कॉम्पोस्ट खाद का अहम रोल होता है कॉम्पोस्ट खाद आप धन या गेहूं के भूसे के माध्यम से बना सकते है इसके लिए आपको करीब 1400 लीटर पानी लेना होता है उसमे आपको 1.5 किलोग्राम फार्मलीन एवं 150 ग्राम बेवस्टीन मिलाकर इसमे 1 क्विंटल और 50 किलोग्राम भूसा को भिगो देते हैं इसके बाद इस मिश्रण को कुछ समय के लिए ढक कर रखा जाता है यह प्रक्रिया इस लिए की जाती है ताकि भूसा शुद्ध हो जाये भूसा का शुद्धिकरण बहुत जरूरी रहता है यदि भूसा शुद्ध नही होगा तो मशरूम का उत्पादन सही से नही हो पायेगा

2. मशरूम की बुवाई

मशरूम के लिये भूसा तैयार होने के बाद बारी आती है, मशरूम के बुवाई की मशरूम की बुवाई से पहले आपको पानी मे भीगे हुए भूसे को निकालकर हवा में फैलाना होता है, ताकि उसमे मौजूद पानी और नमी सुख जाए इसके बाद आपको इसके बीज बोने के लिए पॉलीथिन के बैग्स लेने पड़ेंगे, जिनकी साइज 16 बाई 18 होना चाहिए

इन पॉलीथिन के बैग में सबसे पहले भूसा डाल दीजिए, उसके बाद मशरूम के दानों का छिड़काव करिए इसके बाद इन दानों के ऊपर एक बार फिर भूसा की परत चढ़ा दीजिये फिर इस परत के ऊपर एक बार मशरूम के दाने का छिड़काव करिए ऐसा कम से कम 4 बार चढ़ानी पड़ेगी

इस पॉलीथिन के बैग में आपको दोनों कोनों पर छेंद करना जरूरी होता है, जिससे भूसे का अतिरिक्त पानी आदि निकल जाए यह प्रक्रिया पूरी होने के बाद बैग्स को ऐसी जगह पर रखें जहां हवा लगने की गुंजाइश बहुत कम ही हो हर तरह के मशरूम के लिए उसकी बुवाई की प्रक्रिया में थोड़ा फर्क होता है कुछ मशरूम ऐसे होते हैं जिनके बुवाई के लिए भूसे और मशरूम के दाने को एक साथ मिला लिया जाता है

3. मशरूम को हवा से बचा के रखना

मशरूम को शुरू में हवा से बचाकर रखना बहुत जरूरी होता है नही तो नमी के कारण खराब भी हो सकते हैं नमी से बचाने के लिए इन बैग को किसी कमरे में रख दें, जहां हवा का प्रवेश लगभग निषिद्ध हो किसी कमरे में इन्हें रखकर 15 दिनों के लिए वह कमरा बंद करके रख दें 15 दिन बीत जाने के बाद इसे हवा दिया जा सकता है इसलिए अब दरवाजे को खोल दें, साथ ही कमरे में एक पंखे की व्यवस्था कर दें, ताकि इन मशरूम को हवा मिल सके 15 दिनों बाद मशरूम के सफेद रंग को देखा जा सकता है

4. मशरूम के थैले रखने के तरीके

मशरूम की अच्छी पैदावार के लिए इनके थैलों को अच्छे से रखना बेहद जरूरी होता है इनका सही तरह से रखरखाव जरूरी है इनको रखने के लिए आप कमरे में लोहे आदि का एक पलंग नुमा जंजाल बनाकर उसमें इन बैग को रख सकते हैं इसके अलावा लकड़ी के माध्यम से उन्हें टांगने आदि की व्यवस्था भी की जा सकती है

5. मशरूम के फसल की कटाई और रखरखाव

यदि मशरूम के फसल के तैयार होने की अवधि देखे तो मशरूम की फसल 50 से 60 दिनों में तैयार हो जाती है इसके बाद मशरूम के फसल की कटाई कर सकते है मशरूम की फसल की कटाई के साथ आपको इसके रख रखाव का भी ध्यान रखना होगा जिससे मशरूम कटाई के पश्चात खराब नो हो और वो सुरक्षित रहे

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मशरूम की खेती के लिए पंजीकरण 

मशरूम की खेती का बिजनेस करने के लिए कुछ लाइसेंस एवं पंजीकरण अनिवार्य हैं। मशरूम की खेती को शुरू करने से पहले आपको अपने इस व्यापार से संबंधित एक व्यवसायिक प्रस्ताव तैयार करके गवर्नमेंट ऑफिस में जमा करना होता है, इसके साथ ही आपको पैन कार्ड, आधार कार्ड, एवं निवास प्रमाण पत्र जैसे जरूरी दस्तावेजों के साथ अपने बैंक खाते का विवरण भी कार्यालय में देना पड़ता है। इन सभी जानकारियों के आधार पर ही पंजीकरण एवं सब्सिडी प्रदान करने की प्रक्रिया पूरी की जाती है।

मशरूम की खेती के लिए सरकारी सब्सिडी

मशरूम की खेती का व्यापार के संबंध में सरकार भी मदद करती है हरियाणा की सरकार ने इस खेती के लिए अच्छे कदम बढ़ाये हैं सरकार ने किसानों को इसकी खेती के लिए प्रशिक्षण देने का फैसला किया है भारत सरकार के द्वारा 2010 से मशरूम की खेती के लिए प्रचार और प्रसार किया जा रहा है, अगर आप महिला हो तो आपको 50% की सब्सिडी राशि मिलती है, अगर आप पुरुष हो तो आपको 40% सब्सिडी राशि मिलती है,

भारत सरकार के द्वारा आपको एक लाख से लेकर दस लाख तक की लोन भी इसके लिए मिलती है, अगर आपको यह सारे फायदा उठाना है और सब्सिडी प्राप्त करना है तो आप आपके आसपास के कृषि विज्ञान केंद्र से संपर्क करें यदि आप बिना सब्सिडी के खेती करने में सक्षम है तो आप को कोई पंजीकरण कराने के जरूरत नही होती है

मशरूम की खेती के लिए ट्रेनिंग

यदि आपको मशरूम की खेती से जुड़े अनुभव हासिल करना है तो देश मे ऐसे कई विश्वविद्यालय और कृषि से संबंधित क्षेत्र हैं जो इसकी खेती से जुड़ी ट्रेनिंग कराते हैं इसके साथ इसकी खेती से जुड़ी अधिक जानकारी आपको अपने शहर के किसान सहायता केंद्र से भी मिल जाएगी, जहां आप इसकी खेती से संबंधित सभी जानकारी हासिल कर सकते हैं

कृषि विज्ञान केंद्र में आपको मशरूम की खेती से जुड़े 14 दिन का प्रशिक्षण दिया जाता है और प्रशिक्षण के आखरी में आपको कृषि विज्ञान केंद्र दुवारा सर्टिफिकेट भी दिया जाता है अगर उसके बाद आप खेती करने के लिए चाहो तो आपको कृषि विज्ञान केंद्र के माध्यम से भारत सरकार की जो सुविधा है उसके सारे जानकारी आपको प्रदान किया जाता है

और सारे लोन सब्सिडी और दस्तावेज के काम वहां पर ही कर दिया जाता है आप ऑनलाइन भी सर्च करके आपकी नजदीक कृषि विज्ञान केंद्र के बारे में जानकारी हासिल कर सकती हो उनसे संपर्क करके मशरूम के प्रशिक्षण ले सकते हो

मशरूम की खेती पर होने वाले खर्च (Mushroom Farming Business Investment)

अगर आप मशरूम की खेती करना चाहते हो तो मशरूम की खेती में आपका खर्च मशरूम के बीज कुछ कीटनाशक दवाओं ,भूसा आदि पर ही खर्च होता है यदि आप छोटे स्तर मशरूम की खेती कर रहे है तो आपको 10,000 से 50,000 तक का खर्च आएगा यह घर से शुरू होने वाला व्यापार है आपको सारी चीजें आपकी आस-पास ही मिल जाती है इसीलिए इसमें लागत बहुत ही कम है और यदि आप बड़े स्तर पर खेती कर रहे है तो इससे थोड़ा ज्यादा खर्च आएगा लगभग 1 लाख तक खर्च आएगा

मशरूम की खेती का व्यापार से मुनाफा कितना होगा? (Mushroom farming Business profit margin)

मशरूम की खेती से लाभ की बात करें तो आपको दो से तीन गुना तक का मुनाफा हो सकता है अगर आप अपने घर से मशरूम की खेती का शुरुआत करते हो तो आप महीना में 10 से 15 हजार का मुनाफा कमा सकते हो,

अगर आप किसी बड़े जगह पर मशरूम की खेती करते हो तो महीना में 40 से 50 हजार तक का मुनाफा कमा सकते हो, मशरूम का व्यापार में बहुत ज्यादा मुनाफा होता है जितना आप अच्छे से काम करोगे उतना ज्यादा मुनाफा कमा सकते हो, हालांकि ये आपकी उत्पादन क्षमता और आपकी जगह के ऊपर भी निर्भर करती है 

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मशरूम की मार्केटिंग कैसे करें?

जब मशरूम बनकर तैयार हो जाता है तो अब बारी आती है उसकी मार्केटिंग करने की, अगर आपको मुनाफा कमाना है तो मशरूम को मार्किट में बेचना होगा, अगर मशरूम एक हफ्ते से ज्यादा दिन आपके पास रह जाता है तो वह खराब हो जाएगा इसलिए आपको जल्द से जल्द मशरूम को बाजार में बेचना होगा, आइए जानते हैं कि कैसे करें मशरूम की मार्केटिंग

  • आप मशरूम को अपने आसपास कि शहर के मार्किट में बेच सकते हो
  • दो-चार लोगों को रखकर आप उन के माध्यम से गांव-गांव में जाकर बेच सकते हो
  • मशरूम का अचार और पापड़ बना कर भी आप दुकान पर जाकर या फिर घर घर में बेच सकते हो
  • किसी बड़े मशरूम के डिस्ट्रीब्यूटर यह मशरूम खरीदने वाली कंपनी को भी आप बेच सकते हो
  • किसी होटल यह रेस्टोरेंट में भी मशरूम सप्लाई कर सकते है

मशरूम की खेती में होने वाला नुकसान

हर बिजनेस कुछ ना कुछ नुकसान होता है उसी तरह मशरूम की खेती के बिजनेस में भी घाटा होने का जोखिम है। यदि आपने सही तरह से पूरी जानकारी हासिल किए बिना ही इस बिजनेस की शुरुआत कर दी है तो इस व्यापार में घाटा होने की संभावना बढ़ जाती है।

इसलिए मशरूम की खेती को शुरू करने से पहले यह जरूरी है कि इससे जुड़ी जानकारियों को हासिल कर लिया जाए। इसके साथ ही यदि आप मशरूम की खेती की देखरेख ठीक तरह से नहीं करते हैं तो उगे हुए मशरूम के खराब होने जाने का भी खतरा बना रहता है, इसलिए यह व्यापार बहुत सावधानी के साथ करना चाहिए।

FAQ – मशरूम की खेती कैसे करें से जुड़े लोगों द्वारा पूछे जाने वाले सवाल

Q1. मशरूम की खेती कब और कैसे की जाती है?

Ans. मशरूम की खेती ज्यादातर किसान द्वारा सर्दियों के मौसम में की जाती है क्यों की मशरूम को कम तापमान में ही उगाया जा सकता है

Q2. मशरूम की खेती का व्यापार में कितना फायदा होता है?

Ans. मशरूम की खेती में आपकी लागत से 2 से 3 गुनाह ज्यादा फायदा आपको मिलता है

Q3. मशरूम कितने दिन में तैयार होती है?

Ans. मशरूम की फसल को तैयार होने में लगभग 2 से 2.5 महीने का समाये लगता है

Q4. सबसे ज्यादा मुनाफा देने वाला मशरूम कौन सा है?

Ans. यदि आप खेती के लिए सबसे अधिक लाभदायक मशरूम की तलाश कर रहे हैं तो वाइट बटन मशरूम और ऑयस्‍टर मशरूम जो की भारत के लोगो द्वारा काफी पसंद किया जाता है और इसकी खेती करते है

Q5. मशरूम क्या भाव मिलता है?

Ans. मशरूम की अलग प्रजाति के भाव भी अलग अलग होते है सबसे अच्छी क्वालिटी के मशरूम आपको बाजार में 25 से 30 हजार रुपए किलो मिलते है और जो मशरूम भारत में उगाई जाती है जैसे वाइट बटन मशरूम इसकी कीमत 150 से 200 रूपए किलो होती है

Q6. मशरूम को कहाँ बेचा जाता है?

Ans. मशरूम को आप सब्जी मंडी में ले जाकर बेच सकते है जहां आपको इसके अच्छे दाम मिल जायेंगे आप चाहे तो मशरूम को सब्जी मंडी में न बेचकर किसी होटल वाले को भी बेच सकते है जिससे आपको और अच्छा दाम मिल सकता है और इससे आपकी अच्छी कमाई भी होगी

Q7. 1 एकड़ में कितना मशरूम उगाया जा सकता है?

Ans. मशरूम की खेती साल भर की जा सकती है और आप 1 एकड़ जमीन में लगभग 1000 किलो मशरूम उगा सकते है

निष्कर्ष:

अगर आपको हमारा यह जानकारी Mushroom ki kheti kaise kare (How to Start Mushroom Farming Business in Hindi) पसंद आया तो जरूर इसको अपने दोस्त परिवार के साथ शेयर करें अगर आपको मशरूम की खेती के बारे में कुछ पूछना है तो आप नीचे कमेंट करके हम से पूछ सकते हो आपकी मशरूम खेती से जुड़े हुए सारे सवाल का जवाब देने के लिए हम तैयार हैं

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